रवि कान्त संवादाता
जौनपुर : जनपद का दुर्गा पूजा उत्सव पूर्वांचल में मशहूर है। दुर्गा पूजा महासमिति के संरक्षक एवं व्यापार मंडल के नेता इंदू सिंह इस उत्सव के लिए काफी तैयारी करके इसे दिव्य और भव्य बनाने में पहले से ही जुटे रहते हैं किंतु इस वर्ष ऐसा लगता है कि नगर प्रशासन इस उत्सव को बड़े हल्के से ले रहा है। एक तरफ नगर को सुंदरीकरण के नाम पर भव्य बनाने की योजना बहुत पहले से चल रही है दूसरी ओर दुर्गा मूर्ति के विसर्जन स्थल पर इतनी गंदगी है कि कोई भी व्यक्ति नाक पर रुमाल रखें बिना उधर से निकल नहीं पाता। इस जनपद में लगभग 1000 दुर्गा प्रतिमाएं स्थापित होती हैं जिसकी आधी तो नगर में ही रहती है।
नगर में सड़क के गड्ढों को देख कर ऐसा लगता है कि इस वर्ष प्रतिमाओं की स्थापना ही बड़े मुश्किल से होगी। फिर नवरात्र के प्रथम रात्रि से ही दर्शन करने वालो की भीड़ काफी संख्या में दर्शन के लिए आने लगती है और यह क्रम नवरात्र की पहली तिथि से अंतिम तिथि तक चलता रहता है।
कुत्तूपुर चौराहा से पॉलिटेक्निक तक, नईगंज क्रॉसिंग से शीतला चौकिया तक, पंचहटिया से लाइन बाजार, जगदीशपुर क्रॉसिंग और नाथूपुर चौराहा से पीली कोठी, सिविल लाइंस से लेकर ओलन्दगंज तक नौ दिन तक रात्रि का मेला इतना सघन होता है कि दो पहिया वाहन से भी गुजरना मुश्किल होता है। नए जिलाधिकारी को यहां के इस मेले की अनुभव नहीं है और नगर मजिस्ट्रेट, नगर सीओ और प्रशासन के अन्य लोग अभी उदासीन से लग रहे हैं क्योंकि नगर में न गड्ढों को पाटने की कोई व्यवस्था हुई है
न सड़क ही चलने लायक बन पाई है विसर्जन कुंड की कोई व्यवस्था और सफाई आज तक नहीं हुई है जिले के सदर विधायक एवं मंत्री गिरीश चंद्र यादव तो सब जानते हैं किंतु अभी तक कोई सुव्यवस्था जैसी स्थिति नहीं देखी जा रही है प्रश्न यह है कि यह दुर्गा पूजा उत्सव अच्छे ढंग से कैसे संपन्न होगा?